वैज्ञानिकों ने की ऑक्सीजन के नए प्रकार की खोज
टोक्यो इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी ने किया है रिसर्च
भविष्य के न्यूक्लियर प्रयोगों के लिए महत्वपूर्ण
टोक्यो इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी के न्यूक्लियर फिजिसिस्ट योसुके कोंदो के नेतृत्व में ऑक्सीजन के नए प्रकार की खोज की गई है। योसुके कोंदो के नेतृत्व वाली फिजिसिस्ट की एक अंतर्राष्ट्रीय टीम ने ऑक्सीजन के नए आइसोटोप ‘ऑक्सीजन-28’ को खोजा है। ‘ऑक्सीजन-28’ आइसोटोप में 20 न्यूट्रॉन और 8 प्रोटॉन विद्यमान हैं। यह खोज भविष्य के न्यूक्लियर प्रयोगों के लिए काफी महत्वपूर्ण मानी जा रही है। इससे पहले ऑक्सीजन के ‘ऑक्सीजन-26’ आइसोटोप में सर्वाधिक (18) न्यूट्रॉन उपस्थित थे।
जापान के टोक्यो इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी के फिजिसिस्ट की टीम ने जिस ऑक्सीजन-28 की खोज की है, वो एक आइसोटोप है जिसमें ऑक्सीजन परमाणु के नाभिक में अब तक देखे गए अधिकांश न्यूरॉन्स माने जा रहे हैं। वैज्ञानिकों के अनुसार, ऑक्सीजन-28 अब तक निर्मित ऑक्सीजन का सबसे भारी वर्जन भी है।
जादुई है खोज
परमाणु भौतिकी में जादुई संख्या कई न्यूक्लियॉन हैं जिनमें या तो न्यूट्रॉन या प्रोटॉन शामिल होते हैं जो अपने परमाणु नाभिक के भीतर कंपलीट डिक्शनरी में व्यवस्थित होते हैं। ये संख्याएँ नाभिकों को अधिक स्थिर बनाने का काम करती हैं क्योंकि नाभिक पूरी तरह भरे होते हैं।
प्रोफेसर योसुके कोंडो के नेतृत्व में फिजिसिस्ट की टीम बेरिलियम लक्ष्य पर कैल्शियम-48 आइसोटोप की एक किरण को फायर करके ऑक्सीजन-27 और ऑक्सीजन-28 का प्रोडक्शन उत्पादन करने में सक्षम थी। इससे हल्के परमाणुओं का निर्माण हुआ जिनमें फ्लोरीन-29, 9 प्रोटॉन वाला फ्लोरीन का एक आइसोटोप और 20 न्यूट्रॉन शामिल है। यह रिसर्च पेपर नेचर जर्नल में प्रकाशित हुआ है।
इससे पहले, वैज्ञानिकों ने पता लगाया था कि आइसोटाइप ऑक्सीजन-26 में न्यूट्रॉन की सबसे बड़ी संख्या 18 थी (8 प्रोटॉन और 18 न्यूट्रॉन 26 न्यूक्लियॉन के बराबर होते हैं)। दूसरी ओर, जापानी वैज्ञानिकों की एक टीम ने अब 19 और 20 न्यूट्रॉन के साथ ऑक्सीजन-27 और ऑक्सीजन-28 सहित दो ऑक्सीजन आइसोटोप की खोज की है।
वैज्ञानिकों की यह खोज भविष्य के लिए काफी उपयोगी साबित होगी, इस शोध से अब दुनियाभर के उन वैज्ञानिकों को मदद मिलेगी जो ऑक्सीजन पर कई सालों से रिसर्च कर रहे हैं।